डायबिटीज़ केवल भारत में ही नहीं, बल्कि विश्व में एक बड़ी बीमारी बनकर उभरा है और इसकी चपेट में 42 मिलियन से भी ज्यादा लोग आ चूके हैं। कहा जाता है कि डायबिटीज़ का कोई अचूक इलाज नहीं है। इसे बस उचित आहार, नियमित शुगर लेवल की निगरानी और शारिरिक गतिविधियों के माध्यम से कंट्रोल किया जा सकता है।
हम इस लेख में आपको बताने जा रहे है कि किस तरह व्यायाम डायबिटीज़ से पीड़ित लोगों के लिए लाभकारी है और यह किस तरह ब्लड शुगर को कंट्रोल में रख कर पीड़ित व्यक्ति को राहत पहुंचाने का कार्य करता है?
दरअसल व्यायाम की वजह से किसी भी व्यक्ति के शरीर की मांसपेशियां कार्य करती हैं, जो ब्लड में जमे हुए अपशिष्ट पदार्थों को बर्न कर देता है। इससे शरीर में ब्लड का ट्रांसपोटेशन ज्यादा बेहतर तरीके से संभव हो पाता है और शुगर लेवल अपने आप कंट्रोल में रहता है।
कितनी देर तक करें व्यायाम?
व्यायाम कितनी देर तक करना चाहिए? इस सवाल के कई जवाब हो सकते हैं, लेकिन बीटओ के डायबिटीक एक्सपर्ट का स्पष्ट मानना है कि किसी व्यक्ति को एक दिन में कम से कम 30 से 45 मिनट तक वर्कआउट करना चाहिए। इसमे पैदल चलना भी शामिल है।
उन्होंने वर्कआउट के लिए सुबह के वक्त को सबसे आदर्श बताया है। हालांकि अगर आपके पास सुबह वक्त नहीं है तो आप यह कार्य शाम को 5 से 7 बजे के बीच भी कर सकते हैं।
अगर रहते हैं बहुत ज्यादा व्यस्त?
अगर आप काम-काजी व्यक्ति हैं तो समझा जा सकता है कि आपके पास समय की कमी होगी? लेकिन अपनी जगह पर न तो काम की अनदेखी की जा सकती है और न ही डायबिटीज़ के समस्या की। ऐसे में हमारा आपसे केवल इतना कहना है कि आपको अपने लिए समय तो निकालना ही होगा। इसके लिए आप निम्न टिप्स फॉलो कर सकते हैं..
- कार पार्किंग को दूर रखें ताकि आपको पैदल चलने में मदद मिले.
- जितना संभव हो पैदल चलने की कोशिश करें.
- काम करते वक्त वॉकिंग के लिए समय निकालते रहें.
- जरूरत नहीं हो तो कार का उपयोग ना करें, पब्लिक ट्रांसपोर्ट सही रहेगा.
हालांकि डायबिटीज़ में केवल व्यायाम ही पर्याप्त नहीं है। आपको अपने खान-पान और ब्लड शुगर लेवल पर ध्यान रखने की जरूरत है। आप समय-समय पर चिकित्सक की सलाह लेते रहें और भरपूर नींद लें। आप अपने ब्लड शुगर लेवल की निगरानी के लिए बीटओ स्मार्टफोन ग्लूकोमीटर का उपयोग कर सकते हैं।